राहु शुक्र की युति को लेकर काफी बड़ा ज्योतिष वर्ग नेगेटिव धारणा रखता है जो की आज के समय में काफी हद तक सही भी है. आपने बहुत आंधी देखी होगी और कभी कभी बहुत ज्यादा धुल भरी आंधी भी देखी होगी. लेकिन आप इमेजिन कीजिये शाम के समय जो आंधी आती है उसमे कालापन ज्यादा होता है और एक अजीब सा बर्ताव आपको उसमे मिलेगा। ऐसा नहीं है के उसमे कुछ रहस्य है लेकिन प्रकाश की कमी की वजह से शाम की आंधी काली आंधी बन जाती है बस इसी को असली राहु शुक्र की युति समझे.
ज्योतिष शास्त्र प्रकृति से ग्रहों को पढ़ाने की कोशिश करता है. तो जब लाल किताब की बात आती है तो इस युति को बस एक शब्द में कहा जाता है "काली आंधी"
शुक्र और राहु दोनों ग्रह शाम को बली होते है या ये समझ लीजिये सूरज ढलने के बाद ताकतवर होते है. इसलिए जो रात वाली जो जिंदगी होती है वो इस युति से प्रभावित ज्यादा होती है. कभी कभी ऐसे इंसान को नींद की समस्या आती है, कभी पारिवारिक जीवन की.
इस बारे में ये कहा जाता है की बुध तो बच जायेगा लेकिन केतु खराब हो जाएगा. मतलब के यदि तेज़ आंधी आये तो फल खराब हो सकते है लेकिन पेड़ तो टिका रहेगा। फल केतु से देखते है और फूल पेड़ बुध से देखते है यानी व्यक्ति की इज़्ज़त तो बची रहेगी हालाँकि बुध झूठी शोहरत का मालिक है लेकिन केतु के फल खराब होंगे.
अब कुछ लोग कहते है के हमारे चार्ट में ऐसी युति नहीं है लेकिन फिर भी ऐसा है जैसे प्राइवेट पार्ट पर इन्फेक्शन होना और ठीक ना होना या बार बार होना. हालांकि ये राहु शुक्र की युति है तो जो ज्योतिषी है उन्हें मालूम है की ज्योतिष प्रकृति के संकेतो को पकड़ता है और इसमें लाल किताब एक कदम आगे है लाल किताब कहती है के लक्षण जो है वो कुंडली से भी ज्यादा जरूरी है क्यूंकि वो सामने दिख रहे है.
राहु वक्री ग्रह है और दूसरे ग्रह के कारक तत्वों को बड़ा देता है तो शुक्र के साथ आने पर पैसे की चाहत, सेक्स की चाहत, लक्ज़री की चाहत को बड़ा देता है. अब इस युति को संभालना बहुत मुश्किल बात है क्यूंकि शुक्र की चाहत किसे नहीं है. कोई ना कोई गलती व्यक्ति करेगा और शुक्र का नास वहाँ होना शुरू होता है. चाहे वो अफेयर हो या बुरी आदत या बहुत कमाने की चाहत में जोड़े हुए धन को बर्बाद करना.
लेकिन शुक्र तेज़ चलने वाला ग्रह है और लगभग 23 दिन में एक राशि को पूरा कर लेता है. यानी ऐसे बहुत लोग है जो शुक्र राहु की युति वाले होंगे और आपको बहुत अमीर लोग भी इस युति वाले मिल जायेंगे.
व्यक्ति का यदि शुक्र मजबूत है या उसे शुक्र मजबूत बनाना आ गया तो फिर धन अनेक साधनो से आएगा क्यूंकि ये युति धन भी प्रचुर मात्रा में देती है. लेकिन यहाँ शुक्र का मतलब खुद पर संयम रखने से है. मैंने काफी लोग इस युति में गलत संगत में लिप्त होते देखे है.
अब एक उपाय और भी है सूर्य और चंद्र। जब आंधी आ रही है तो या तो बारिश आ जाए या रौशनी आ जाए तो आंधी को रोक देती है मिट्टी अपनी जगह बैठ जाती है अब या तो पिता की सलाह ली जाए या माता की. टॉयलेट साफ़ किया जाए डेली और अपने आप को साफ़ सुथरा रखा जाए तो ये युति ठीक भी हो जाती है. क्यूंकि शुक्र के तेज़ चलने की वजह से शुक्र इस युति को तोड़ने में सक्षम है. अगर व्यक्ति 23 दिन का ब्रह्मचर्य फॉलो करे तो ये युति एक अत्यधिक अमीर इंसान भी बना सकती है.
This is particularly for D1 chart? Or it can be applied to D9 as well.
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