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मूलांक 4 की विशेषताएं - MULANK 4 MEANING

मूलांक 4 राहु ग्रह से प्रभावित माना जाता है. जिन लोगो का जन्म किसी भी महीने की 4,13,22,31 को होता है उन्हें मूलांक 4 का जातक समझा जाता है. एक तेज़ दिमाग और खुश मिज़ाज़ होने के साथ जिद्दी होना इनकी खासियत होती है और भी बहुत कुछ राज है किरदार में आइये जानते है.  अंकशास्त्र में मूलांक 4 - Mulank 4 in numerology लाइफ पाथ नंबर 4 अंक अंकशास्त्र में 9 अंक के बाद सबसे ज्यादा रहस्यमयी होता है. राहु से प्रभावित अंक ४ में दुनिया से अलग ही हिसाब किताब होता है. ऐसा माना जाता है के जब ब्रह्माजी ने 4 अलग अलग दिशाओं की ओर अपना मुख किया तब जाके 4 दिशाओ की उत्पति हुई जिससे धीरे धीरे हर चीज़ को बांटा जाने लगा. 4 वेद  की उत्पति हुई जिनसे समाज को एक जीने का दायरा और समझ मिली. काम क्रोध लोभ मोह ये जिंदगी के चार विकार बने, 4 वर्ण ब्राह्मण,शूद्र,वैश्य,क्षत्रिय बने. इसी तरह 4 आश्रम बने. यंही से 4 अंक की एक स्वाभाविक गुण की कार्यशैली हम समझते है.  हर कार्य को व्यवस्था प्रदान करना एक तरह से देसी भाषा में हर काम को लोगो में बांटना "तू ये करेगा तू वो करेगा मै ये करता हूँ" ये 4 अंक का गुण है के वो मैनेजमे...

क्या सच में बरकत देता है हिजड़े का दिया हुआ सिक्का

काफी लोगो में  किन्नर - हिजड़े को लेकर अलग अलग मान्यताएँ है, कुछ जगह धारणा है के इनसे पैसे या सिक्का लेकर रखना धन के लिए शुभ होता है कुछ जगह इनसे लड़ना अच्छा नहीं मानते। क्या ये सब धारणाएं है या इनमे कुछ सच्चाई भी होती है. समाज की क्या सोच है और ज्योतिष इस बारे में क्या सोचता है आइये जानते है.  Transgender and astrology - ज्योतिष की नज़र में किन्नर  किन्नर का समाज में होना कोई नई बात नहीं है किन्नर होना एक सामान्य प्रक्रिया है. हिज़ड़ा समाज सतयुग से चलता आ रहा है. भीष्म पितामाह की मृत्यु का कारण एक हिज़ड़ा  ही था जिसका नाम शिखंडी था लेकिन उस समय वो हिज़ड़ा एक राजा था  और युद्ध में शामिल भी हुआ था.  समय समय पर हिजड़ो के स्तर में परिवर्तन में आता है, देशकाल पात्र के अनुसार इनमे फर्क होता है. ज्योतिष के अनुसार किन्नर बुध ग्रह को इनसे जोड़ कर देखा जाता है. बुध ग्रह को नपुंसक ग्रह माना गया है और किन्नर भी नपुंसक होते है इस वजह से बुध से इनका संबंध है.  ज्योतिष में बुध ग्रह को अच्छा रखने के लिए किन्नरों की सेवा करना, इन्हे दान करना, हरे रंग के कपडे देना अच्छा होता...

मूलांक 3 की विशेषताएँ | Characteristics of Moolank 3

मूलांक तीन के मालिक ग्रह बृहस्पति हैं अत: मूलांक तीन के व्यक्तियों पर गुरू ग्रह का बहुत प्रभाव होता है.  मूलांक 3 साहस, नेतृत्व के गुणों से युक्त एवं महत्वाकांक्षा से भरपूर होता है. जिनका जन्म किसी भी महीने की 3, 12, 21, या 30 तारीख़ को हुआ हो ,उनका मुलांक 3 होता है. आइये जानते है अंक 3 की कुछ मुख्य बातें  मूलांक 3 की विशेषताएँ | Characteristics of Moolank 3 mulank 3 जिसे लाइफ पथ नंबर भी कहते है इस नंबर के व्यक्तियों में महत्वाकांक्षी प्रवृत्ति, अनुशासन जैसे गुण होते हैं. ये लोग रक्षा, राजकीय, प्रशासनिक, पदाधिकारी अथवा किसी भी विभाग का अध्यक्ष हो सकते हैं. यह अपने कार्यों को लेकर alert रहते हैं और किसी भी भ्रांति से स्वयं को दूर रखने का प्रयास करते हैं.  मूलांक 3 शिक्षा के मामले में ये उच्च स्तर की शिक्षा प्राप्त करते हैं. पढ़ाई में आगे ही रहते है.इन्हे विज्ञान व साहित्य में इनकी ज्यादा रूचि होती है। ये पढाई में सफल रहते हैं। इसके अलावा ज्योतिष संबंधी क्षेत्र में अच्छी रूचि होती है.  ऐसा देखा जाता है की आरम्भिक उम्र में इनकी आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं रहत...

मूलांक 2 का नेचर - character of number 2 numerology

 जिन लोगो का जन्म किसी भी महीने की 2-११-20-29 तारीख को जन्म हुआ होता है उनका मूलांक 2 माना जाता है, चन्द्रमा से प्रभावित ये लोग चन्द्रमा की तरह ही घटने बढ़ने वाले होते है. आइये  जानते है मूलांक 2 की खूबियां और बखूबियाँ।  mulank 2 in numerology मूलांक जिसे लाइफ पाथ नंबर (life path number) भी कहा जाता है इसमें यदि मूलांक 2 आये तो व्यक्ति अति मूडी किस्म का तो अवश्य होगा क्यूंकि इसका स्वामी चन्द्रमा (moon) होता है.  लाइफ  चन्द्रमा का सबसे अच्छा दोस्त है उसकी तालीम यानी पढ़ाई और संस्कार और सबसे बड़ा दुश्मन है उसका घमंड और ईर्ष्या और द्वेष से भरे रहना. अत्यधिक भावुक ये लोग कभी कभी बहुत बुरे स्वभाव को भी धारण कर लेते है यदि इनकी सुनवाई ना हो तो. अगर 2 नंबर वाली महिला है तो किटी में अगर इन्हे ऊँचा दर्ज़ा नहीं मिला तो बुरे बोल बोलने में तनिक भी नहीं झिझकती। किस्मत के मामले ये लोग धनी होते है लेकिन कभी कभी संतान की तरफ से कोई कष्ट या अपमान सहने को मिल जाता है. चन्द्रमा अगर अच्छा है तो पढ़ाई चाहे मामूली ही क्यों ना हो लेकिन रोज़ी रोटी कमवा देगी। रिलेशनशिप  मन के मालिक ये लो...

गायत्री मन्त्र और उसका मतलब - लेक्चर १

  आज गायत्री मन्त्र पर एक छोटी सी सीरीज शुरू कर रहा हूँ जिसमे गायत्री मन्त्र से संबंधित जितनी जानकारी  होगी वो पाठको को उपलब्ध कराई जायेगी. सबसे पहले गायत्री मन्त्र परिचय  गायत्री मन्त्र  ॐ भूर्भुवः स्वः तत्सवितुर्वरेण्यम् , भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात् ||     गायत्रीअनुवाद हिंदी में - ओम भूर भुव स्वह ततस वितुर वरे नयम, भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नह प्रचो दयात  गायत्री मन्त्र का मतलब  उस प्राण स्वरूप, दुःखनाशक, सुखस्वरूप, श्रेष्ठ, तेजस्वी, पापनाशक, देवस्वरूप परमात्मा को हम अंतःकरण में धारण करें। वह प्रभु हमारी बुद्धि को सही मार्ग में ले जाए । ये मन्त्र सविता देव के लिए लिखा गया है जो की सुबह के सूर्य का ही एक नाम है, ( तत्सवितुर्वरेण्यम्) इंग्लिश में अनुवाद - gaytri mantra in english  om bhur bhuva swah tatas vitur vare nayam, bhargo devasya dhi mahi dhiyo yo nah pracho dayat  Meaning of gaytri mantra in english  OM. I adore the Divine Self who illuminates the three worlds -- physical, astral and causal; I...

नेचर यदि जन्म तारीख में 4 अंक आता हो

आज चर्चा करते है ऐसे लोगों के नेचर की जिनके जन्म तारीख में 4 नंबर एक, दो या तीन बार आता है. कैसे होते है और क्या करना चाहिए इन्हें आइये जानते है. नेचर यदि जन्म तारीख में 4 अंक आता हो  repeat of 4  number in birth date meaning 4 अंक 1 बार आने पर (4-11 -2002) = ऐसे लोग नियमित होते है, ऐसे लोगों को एक ही काम में दिमाग लगाना चाहिए।  4 अंक 2 बार आने पर (4-4 -2002) = ऐसे लोग बहुत प्रैक्टिकल होते है, जमीन से जुड़े होते है, इन्हें काम भी ऐसे ही करने चाहिए जो असलियत में हो  सकते हो. 4 अंक 3 बार आने पर = ऐसे लोग मेहनती होते है और यही बात इन्हें फायदा देती है, इन्हें दिमागी काम करने की बजाए फिजिकल काम करने चाहिए।   नेचर यदि जन्म तारीख में 4 अंक आता हो, repeat of 4  number in birth date meaning

राहु के गोचर का फल कैसा होगा - result of rahu gochar

वैदिक ज्योतिष के अनुसार राहु ग्रह का गोचर तक़रीबन 18 महीने की अवधि का होता है यानी एक राशि में डेढ़ साल. इसका राशि परिवर्तन ज्योतिष में बड़ी घटनाओ के रूप में देखा जाता है और लगभग हर राशि के जातक को इसके फल मिलते है. आइये जानते है विभिन्न भावों में राहु का गोचर का क्या फल मिलता है.  राहु देव शुभ परिणाम देंगे ये अशुभ  ये तो राहु देव ही जाने लेकिन थोड़ा अंदाज़ा लगाया जा सकता है. सबसे पहले कुंडली में राहु की स्थिति देखनी चाहिए। अगर राहु शुभ अवस्था में है तो उसी भाव जिसमे गोचर करेगा उसमे शुभ फल देगा अशुभ होगा तो हर अच्छी जगह भी बुरे फल मिलेंगे लेकिन एक बात जरूर बता दूँ के राहु के उपाय करना सबसे आसान होता है और अच्छे फल लेना भी बस थोड़ी आदते सुधारनी चाहिए.  नोर्मल्ली राहु को वृषभ राशि में उच्च तथा वृश्चिक राशि में नीच माना जाता  है। गोचर का राहु चंद्र से तृतीय, षष्टम, दशम और एकादश भाव में शुभ फल देता है। वहीं द्वितीय, चतुर्थ, पंचम, सप्तम, अष्टम, नवम और द्वादश भाव में राहु सामान्यतः अच्छे फल प्रदान नहीं करता है। लेकिन इसकी कैलकुलेशन थोड़ी मुश्किल है, हम आपको आसान भा...

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My Name is Prateek Gupta. I am a professional astrologer and vastu consultant. i am doing practice from many years. its my passion and profession. I also teach astrology and other occult subject. you can contact me @9899002983